कई दिनों से दूसरे महत्वपूर्ण कार्यों में व्यस्तता के बावजूद ब्लॉग जगत पर निगाह बनी रही ..... भले ही आप लोगों को मेरी टिप्पणियां न मिली हो .... क्षमा चाहती हूं ... व्यस्तता इतनी थी कि सप्ताह भर से अपने तीनो ब्लोगों को अपडेट करने का मौका भी नहीं मिला था ..... आज ही मोलतोल में आनेवाले सप्ताह की शेयर बाजार की भविष्यवाणियों के साथ ही गत्यात्मक चिंतन और हमारा खत्री समाज को अपडेट कर दिया है ..... और अब शायद सबमें नियमित रह पाऊंगी ..... आज सोमवार का दिन इस ब्लॉग पर मेरे द्वारा की जानेवाली वार्ता का दिन है ....... कल रविवार का दिन होने के बावजूद हिंदी ब्लॉग जगत विविधताभरे लेखों से गुलजार बना रहा , जबकि शैलेश जी का कहना है कि यह रविवार बोरिंग है ......
कल महावीर जयंती थी ......... महावीर स्वामी के जन्म दिन चैत्र शुकल १३ के उपलक्ष्य में यह जयंती मनायी जाती है .......... विकीपीडिया के अनुसार भगवान् महावीर स्वामी का जन्म ईसा से ५९९ वर्ष पूर्व कुन्डल पुर (बिहार) भारत (इन्डिया)मे हुया था ........... भगवान महावीर का संदेश देते हे प्रभु तेरा पंथ के द्वारा पोस्ट किए गए आलेख से आज की वार्ता की शुरूआत की जानी चाहिए ....... महावीर प्रभु का मानना है कि अच्छे कर्मों के द्वारा प्रत्येक आत्मा परमात्मा बन सकती है ........ विनय जी ने भी इस पोस्ट में समझाया है कि अगर कुछ अच्छा करने की चाहत है,तो छोटी,छोटी खुशियाँ देने से प्रारम्भ करो ..........
रविश कुमार जी मीडिया में तथा वास्तव में बिहार की छवि के बारे में विस्तार से चर्चा कर रहे हैं .......... 27/03/2010 शनिवार को छत्तीसगढ शासन के संस्कृति विभाग के तत्वाधान मे गुरु घासीदास संग्रहालय की आर्ट गैलरी में श्रीमती अल्पना देशपांडे जी की प्रदर्शनी लग रही है .......... जिसकी झलक दिखला रहे हैं ललित शर्मा जी .......... मनीषा पांडेय जी इस धरती से बेदखल आधी आबादी के लिए अपना लेखन करती हैं ......... कल से ही वे उनकी एक बडी समस्या को लकर आयी है ........... आज प्रस्तुत है उसकी दूसरी कडी ...........
शरद कोकास जी की सुंदर कविता पढें , हम सब इज्जतदार हैं ............ अरविंद मिश्राजी केरल से लौट चुके तो यात्रा वृतांत तो सुनाएंगे ही .......... इस बार रेल नहीं .............. पर रेलवालों की गल्ती से फ्लाइट ही मिस हो गयी उनकी ........... मुनीश जी कुरूक्षेत्र से सुंदर चित्रों के साथ लौटे हैं ............ एम वर्मा जी भी एक गंभीर रचना लेकर आज प्रस्तुत हैं ........... नेहा जी बता रही हैं कि नर्गिस और सुनील दत्त की जोड़ी हमेशा हमारे लिए एक आयडियल जोड़ी रही है... ......... शुभि जी कहती है कि शहीदों का सम्मान बुलडोजर से नहीं फूलों से करें डा साहब ............ संजय मिश्र जी बिहार से लोगों के पलायन का अर्थशास्त्र समझाते हुए आलेख का दूसरा भाग लेकर आए हैं ...............
दूध के मूल्यों में वृद्धि को दखते हुए तारकेश्वर गिरी जी का कहना गलत नहीं है कि दूध की सफेदी काली पडने लगी है ............. आज तक बेनामी जी की टिप्पणी से ही लोग परेशान रहा करते थे . ............ आज वे पोस्ट लेकर भी आ गए हैं ............... और उनकी पोस्ट पर लंबी चौडी बहस भी हो रही है ............. जरूर देख आइए ........... खुशदीप जी प्रतिदिन एक प्रश्न लेकर आ रहे हैं ............ आज उनका प्रश्न है औरत और उनके आंसू क्यूं खास हैं ............... जाइए और जबाब दे आइए ............... अजीत वडनेरकर जी घाटी , घटाटोप , दुघर्टना और जमघट जैसे शब्दों के सफर पर चर्चा कर रहे हैं ............वहीं शशि सुधांशु जी एक चोर की कहानी सुना रहे हैं ।
श्यामल सुमन जी ने भी अच्छी रचना पोस्ट की है ......... साथ साथ मंसूर अली जी की रचना का भी आनंद लें ............ आकांक्षा जी ने भी सुंदर बालगीत लिखा है ....... कुलवंत हैप्पी जी क्षणिकाओं की अपनी पोटली से कुछ क्षणिकाएं हमारे लिए लेकर आए हैं ............. किशोर पारिक जी देश भक्ति के कुछ मुक्तक भी ........... रूपचंद्र शास्त्री जी प्रजातंत्र पर व्यंग्य कर रहे हैं ............. आज विवेक रस्तोगी जी ने भी मन के भडकते विद्रोह को सुंदर अभिव्यक्ति दी है ...............
तो रवि रतलामी जी हमारे क्षेत्र के विजय कुमार वर्मा की रचना के साथ साथ छठी कक्षा की एक छोटी सी बच्ची शेफाली वर्मा डी ,ए भी, कथारा,बेरमो, की सुंदर कविता पढवा रहे हैं .............. इधर राजकुमार ग्वालानी जी परेशान हैं कि ब्लॉग जगत में अच्छे लेखन की कद्र नहीं होती है ................. तो काजल कुमार जी की कार्टून आज के भाषाविदों को नमस्ते कर रही हैं .............. दीपक भारत दीप जी का मानना है कि लेखकों की कथनी और करनी में बहुत फर्क है ..............
देव प्रकाश चौधरी जी ने खुलासा तो नहीं किया कि किन ब्लॉगर्स के पास पांच पांच किलो मक्खन के पैकेट हैं ............ दूबे जी ने भी वर्ल्ड कांप्लीमेंट डे के अवसर पर बनायी अपनी कार्टून्स को आज हमारी कांप्लीमेंट के लिए पोस्ट किया है .......... माधव के खेल और शैतानी पर भी एक नजर डाल ही लें......... और बहू की इच्छा के कारण अनंत अन्वेषी जी ने 55 वे वर्ष में अपना पहला जन्मदिन मनाया ............... उन्हें जन्म दिन की हार्दिक शुभकामनाएं !!
वार्ता को विराम देते हैं नमस्कार--पुन: मिलते हैं अगली वार्ता पर................
Promoted By : ताऊ और भतीजाएवम कोटिश:धन्यवाद
Promoted By : लतश एवम शिल्कर, को
11 टिप्पणियाँ:
बहुत बढिया वार्ता की है
आपने संगीता जी,
बधाई
वाह संगीता जी आपने तो
बहुत सारे लिंक समेट दिए
आभार
jaan kari dene ke liye dhanyawaad
संगीता जी,
ब्रेक के बाद आपका स्वागत है...ये सच है जैसे घर का कोई सदस्य घर से बाहर जाए तो उसकी कमी का शिद्दत के साथ एहसास होता है...अब आपको पढ़ने की आदत सी पड़ गई है...लेकिन ज़िंदगी के दूसरे पहलू भी निपटाने ज़रूरी होते हैं...आते ही आपने बेहतरीन चर्चा की है...आभार...
जय हिंद...
आपके द्वारा की गई चर्चा नि:संदेह लाजवाब है।
बहुत सुंद्र वार्ता.
रामराम.
बढ़िया चिट्ठाचर्चा
बहुत सारी पोस्टों की जानकारी मिल गई एक साथ।
आभार
varta ka andaaj bahut badhiya raha
Sangeetaji kabhi-kabhi apan bhi sudhi le liya kariye is charcha men
www.bat-bebat.blogspot.com
धन्यवाद हमारी आवाज ब्लाग जगत तक इतने सुंदर तरीके से ले जानेके लिये
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