शुक्रवार, 27 अगस्त 2010

ठूठी वाला डॉक्टर--शीर्षक की तलाश---ब्लॉग4वार्ता----ललित शर्मा

नमस्कार, हमने मित्रों के विशेषाग्रह पर एक नया ब्लॉग चलती का नाम गाड़ी बनाया है, जिस पर हमने अपने यात्रा वृत्तांत लिखने प्रारंभ किए हैं।  गुगल सर्च इंजन से तो इस ब्लॉग पर बहुत से पाठक आ रहे हैं, पर ब्लागर पाठकों तक नहीं पहुंच पाया है। इसलिए आपसे निवेदन है कि इस ब्लॉग के समर्थक अवश्य बनें। ब्लाग विषय आधारित होने से उस पर पाठकों की संख्या कालान्तर में बढते जाती है, ऐसा मैने अनुभव किया है। ब्लाग सर्च इंजन पर भी जल्दी आ जाता है। जिससे वहां से भी पाठक आते हैं। मैने अपने अन्य भाषाओं के ब्लाग पर कई महीनों से लिखा नहीं है, लेकिन उस पर बराबर पाठक आते रहते हैं। इसलिए नए चिट्ठाकारों को सलाह है कि विषय आधारित ब्लाग ही लिखें तो अति उत्तम होगा--अब चलते हैं आज की ब्लाग4वार्ता पर.....

सबसे पहले चलिए चलती का नाम गाड़ी पर.बरसों का सपना - कामाख्या मंदिर--यात्रा--8बरसों का सपना पूरा होने जा रहा था। हमें कामाख्या मंदिर के दर्शन होने जा रहे थे। हमारे छत्तीसगढ़ में इसे कौरु नगर कहा जाता है और यहां तंत्र सीखने वाले जाते हैं। ऐसी मान्यता है कि यहां मंत्र-तंत्र से तांत्रिक...शीर्षक की तलाश!..एक किताब का शीर्षक तलाश रहा हूँ कि क्या रखूँ? वैसे तो कुछ फार्मुले पता चले हैं बेस्ट सेलर बनाने के. कहते हैं इसके लिए शीर्षक का बहुत महत्व है. वही तो सबसे पहले आकर्षित करता है पाठक को किताब खरीदने 

ठूठी वाला डॉक्टर --वो सफ़ेद कुर्ता पहने , और धोती बांधे पैरों में सेंडल , कांधे पर झोला टांगे रोज ठंडे पानी से नहाकर आता दस कोस साईकल चलाकर । खांसी नज़ला , दर्द बुखार , उलटी दस्त की दवा लेकर , टेटनस का टीका देकर चोट पर बीटाडीन...दो रोटियाँ कितना दौड़ाती हैं?दो रोटियाँ कितना दौड़ाती हैं?* हाड़-तोड़ भाग-दौड़ फ़िर दिमागी दौड़ भाग जीवन में विश्राम नहीं दो रोटियाँ कितना दौड़ाती हैं? झूठ-षड़यंत्र, जोड़-तोड़ फ़िर होती रही धोखा-धड़ी जीवन में बस काम यही दो रोटियाँ कितना दौड़ाती...

भारत में फेसबुक नंबर वन कॉमस्कोर इंक का सर्वे : अब जीमेल से फोन* * डायचे वेले जर्मनी की रिपोर्ट * डायचे वेले जर्मनी ने एक सर्वे के आधार पर जानकारी दी है कि अब भारत में भी फेसबुक नंबर व... .फिर से अयोध्या मामलादेश में १७ सितम्बर का दिन एक बार फिर से एक नए परिवर्तन की तरफ़ जाने वाला हो सकता है. इस दिन अयोध्या मामले में सुनवाई कर रही इलाहबाद उच्च न्यायालय की लखनऊ खंडपीठ अपने सुरक्षित रखे गए फैसले को सुनाने वाली है...

आम आदमी से मुलाकातसंवेदनशील कवि की दो लाइन से बात आरम्भ करते हैं-प्रश्नोत्तर चलते रहे,जीवन में चिरकाल,विक्रम मेरी जिन्दगी,वक्त बना वेताल। ये पंक्तियां देश के आम आदमी को समर्पित हैं। उस आदमी को जिसे मैं तब से जानता हूँ जब से...100 वाँ जन्म दिन है आज इनका मदर टेरेसा *मदर टेरसा* *अग्नेसे गोंकशे बोजशियु*[image: MotherTeresa 090.jpg] मदर टेरसा जन्म26 अगस्त 1910 उस्कुब, ओटोमन साम्राज्य (आज का सोप्जे,मेसेडोनिया गणराज्य)मृत्यु5 सितंबर 1997 (87वर्ष ) कोलकाता, भारत...

देश का खजाना खाली, दलों में हरियालीइन दिनों पूरे देश में यह बहस चल रही है कि सांसदों के वेतन भत्ते बढऩा चाहिए या नहीं बढऩा चाहिए। हमने आम आदमियों के बीच यह सवाल उठाया तो अब तक हमें एक भी व्यक्ति नहीं मिला जिन्होंने सांसदों के वेतन भत्तों में ...मैं एक हिन्दी ब्लोगर - अपंग, असहाय और निर्धनमै एक हिन्दी ब्लोगर हूँ। 03-09-2007 को अपना हिन्दी ब्लोग बनाकर मैंने अपना पहला पोस्ट लिखा था और तब से आज तक मात्र कुछ माह को छोड़कर अपने ब्लोग में प्रायः रोज ही एक पोस्ट लिखते चला आ रहा हूँ। क्यों लिखता हू...

एक और नयी पहल : एक गीत एक कहानी एक नज़्म एक यादले अभाव का घाव ह्रदय का तेज मोम सा गला अश्रु बन ढला सुबह जो हुई सभी ने देख कहा --- शबनम है !" - सरस्वती प्रसाद *** ज़िन्दगी के दर्द ह्रदय से निकलकर बन जाते हैं कभी गीत, कभी कहानी, कोई नज़्म, कोई याद ....स्मृतियां सुरम्य वादियों में दौनों ओर वृक्षों से घिरी , है एक पगडंडी , फूल पत्तियों से लदी डालियाँ , हिलती डुलती हैं ऐसे , जैसे करती हों स्वागत किसी का , चारों ओर हरियाली , सकरी सी सफेद सर्पिनी सी , दिखाई देती पगडंडी...

पीपली लाईव मानिकपुरीआमिर खान *की ताजा हिट फिल्म* पीपली लाईव *के कलाकार *नत्था * के रूप में सराहे जा रहे ओंकारदास मानिकपुरी अब किसी परिचय के मोहताज नहीं हैं और वे जिस शहर से हैं उस शहर में कलाकार पैदा करने की कुव्वत का दुनिया...नौकरानी के शरीर में 23 कीलें ठोंक दीं सऊदी अरब के एक परिवार ने दरिंदगी की सारी हदों को पार करते हुए अपनी नौकरानी के शरीर में 23 कीलें ठोंक दीं। अमानवीय यातनाएं झेलने के बाद श्रीलंका की यह नौकरानी अपने देश लौट गई है, जहां उसका इलाज चल रहा है। ...

ब्‍लॉगविद्या के बाबा रामदेवडीएलए दिनांक 27 अगस्‍त 2010 के अंक में संपादकीय पेज 11 पर व्‍यंग्‍यकार डॉ. राकेश शरद। पढ़ने-समझने के लिए क्लिकाते जाएं। यह सलाह नहीं चेतावनी हैजैसा देश वैसा भेष यह कहावत तो आपने जरुर सुनी होगी पर एक बात की और गाठं बांध लें, जहां भी रहते हैं वहां की भाषा जरूर सीख लें और कोशिश करें कि स्थानीय लोगों से उनकी ही भाषा में बात कर सकें। पता नहीं आप की कि...

फूलों पर टिक गई है बात ...एक तो हो रही बरसात उसपर इतनी लम्बी रात कश्ती मेरी डूब के उबरी तूफाँ ने फिर खाई मात ज़िक्र किया था पतझड़ का फूलों पर टिक गई है बात झूठ का उबटन चेहरों पर ख़ाक कहेंगे सच्ची बात बिन मतलब बदनाम हुई मैं...वो निगहबान हो तो बात बने--ऐसे ही सरे राह चलते कुछ पंक्तियाँ मन में आगईं तो उन्हें मन में दबाया ना गया.. हिन्दुस्तान के गरीबों का सा हस्र ना किया गया उनका मुझसे.. लेकिन आखिरी पंक्तियाँ समझ नहीं आयीं कि कौन सी बेहतर रहेंगीं इसलिए जो ...

ईमेल के रास्ते मुफ़्त फ़ोनअब जल्दी से आप सभी अपने घरो के फ़ोन कटवा दे.... ओर मुफ़त मैइन ही सेवा ले....पुरा पढने के लिये ओर पुरी जानकारी के लिये यहां जाये भक्तों की भीड़ में बेचारे भगवान !दोस्तों ! सड़कों के किनारे भगवानों की पूजा -अर्चना के लिए भारी -भरकम पंडाल सजाने और पूजा के बहाने अपनी-अपनी मनमानी करने वालों का मौसम फिर आ रहा है. धर्म-संस्कृति के नाम पर ढोल-ढमाकों के साथ धींगा...
तीन तीन खुशखबरियां.... ताऊ टीवी का स्पेशल बुलेटिनताऊ टीवी के इस विशेष बुलेटिन में मैं कल्लू मदारी आपका हार्दिक स्वागत करता हूं. इस विशेष बुलेटिन में मेरे साथ साथ ताऊ और ताई भी बधाई देने के लिये विशेष रूप से मौजूद हैं. आप सोच रहे होंगे कि ये ताऊ के साथ आ...मेल टुडे में ब्‍लॉगपीपली में छत्‍तीसगढ़' ब्‍लॉग पेज को अखबारों, पत्रिकाओं, चैनलों ने अपनी चर्चा का विषय बनाया. कुछ ने पूछा, किसी ने बताया, कुछ औरों ने बताया, हो सकता है कुछ की जानकारी मुझे अब तक न हो. लेकिन 'मेल टुडे', दिल्...

कितने कब्रिस्तान  कितने कब्रिस्तान ?* मेरी आँखें बहुत सुखद सपना देख रही हैं | सरकारी स्कूलों में जगह - जगह पड़े गड्ढे वाले फर्श के स्थान पर सुन्दर टाइल वाले फर्श हैं | उन गड्ढों में से साँप, बिच्छू, जोंक इत्यादि निकल क...सड़क मार्ग से महाराष्ट्र: नासिक हाईवे पर कीड़े-मकौड़ों सी मौत मरते बचे हम और पहुँचना हुया नवी मुम्बईशिरड़ी में साईं बाबा के दर्शनों के बाद, विचलित मन में कई सवाल लिए नासिक की ओर जाने के इरादे से जब मैंने शहर से बाहर, मनमाड़ की ओर सड़क का रूख किया तो दोपहर के दो बज चुके थे। करीब छह किलोमीटर बाद ही नासिक क...

चलते-चलते व्यंग्य 



ब्लागवार्ता को देते हैं विराम आप सभी को ललित शर्मा का राम राम

17 टिप्पणियाँ:

आज की वार्ता को बहुत ही उपयोगी लिंकों से सजाया है आपने!

बहुत उम्दा वार्ता ललित बाबू!

बहुत बढ़िया वार्ता...!
आभार....!

आपकी वार्ता कुछ विशेषता रखती है |कई लिंक्स नई नई मिलती है |
पढ़ कर बहुत आनंद आता है |कार्टून बहुत अच्छा लगा |मेरी रचना
आज शामिल करने के लिए बहुत आभार |
आशा

लगे रहे ललित जी.. आकाश नगर के बाबा जी की साधुवाद हमेशा आपके साथ है, बाबा ने हमें कहा है

@राजकुमार ग्वालानी
आकाश नगर के बाबा जी को धन्यवाद
ऐसे ही कृपा बनाए रखें,हमारा संदेश उन तक पहुंचा दें।

आपका भी धन्यवाद

बहुत अच्‍छी वार्ता .. हम पाठकों के लिए बहुत अच्‍छे अच्‍छे लिंक लाए आज .. बहुत आभार !!

बहुत बढ़िया वार्ता...!
आभार....!

बेहद उम्दा लिंक्स के साथ सजाई गयी इस ब्लॉग वार्ता के लिए आपका बहुत बहुत आभार, ललित भाई !

बहुत रोचक वार्ता.

रामराम.

ललित जी को नमस्कार, ललित वार्ता के पीछे पीछे विप्रवार्ता भी चल रही है साधुवाद ..............

@Ajay Tripathi,

स्वागत है अजय भाई-विप्र वार्ता बुलंद रहे।

रोचक चर्चा
यूं ही जारी रहे यह सफर
बधाई

नए ब्लॉग के लिए शुभकामनायें ।
कार्टून बढ़िया है भाई ।

वाह ललित जी
अब कैसे सुक्रिया करूँ आपका
आप ने तो हमें बहुत दूर पहुंचा दिया ....
आप की ब्लॉग 4 वार्ता बहुत पसंद आई
और मन खुसी से झूम उठा की
आप को, दी को मेरा लेख पसंद आया
समय अभाऊ के कारन आज कल इतना वक़्त नहीं दे परः हूँ ..किन्तु फिर भी कोसिस करूँगा की ..कुछ जादा करने की कोसिस करूँ

एक टिप्पणी भेजें

टिप्पणी में किसी भी तरह का लिंक न लगाएं।
लिंक लगाने पर आपकी टिप्पणी हटा दी जाएगी।

Twitter Delicious Facebook Digg Stumbleupon Favorites More